चुहिया रानी,चुहिया रानी,
करती रहती है मनमानी,
सारे घर में दौड़ लगाती,
बदमाशी में कोई उसका न सानी
कभी रसोई तो कभी पूजाघर
घूमती रहती है घर भर
बचों की सहेली है वो,
बड़ो की है वह परेशानी
करती रहती है मनमानी,
सारे घर में दौड़ लगाती,
बदमाशी में कोई उसका न सानी
कभी रसोई तो कभी पूजाघर
घूमती रहती है घर भर
बचों की सहेली है वो,
बड़ो की है वह परेशानी
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